अक्रम विज्ञान, एक ऐसा आध्यात्मिक विज्ञान है जो व्यवहार में उपयोगी है और मोक्ष प्राप्ति के लिए एक ‘शार्टकट’ रास्ता है।
अधिक पढ़ें“यदि खुद के स्वरूप को पहचान लिया तो फिर वह, खुद ही परमात्मा है |”
~ परम पूज्य दादा भगवान
दादा भगवान फाउन्डेशन प्रचार करता हैं, अक्रम विज्ञान के आध्यात्मिक विज्ञान का – आत्मसाक्षात्कार के विज्ञान का। जो परम पूज्य दादा भगवान द्वारा बताया गया है।
अधिक पढ़ेंअहमदाबाद से २० की.मी. की दूरी पर सीमंधर सिटी, एक आध्यात्मिक प्रगति की जगह है| जो "एक स्वच्छ, हरा और पवित्र शहर" जाना जाता है|
अधिक पढ़ेंअक्रम विज्ञानी, परम पूज्य दादा भगवान, द्वारा प्रेरित एक अनोखा निष्पक्षपाति त्रिमंदिर।
विषय की गंदगी में लोग पड़े हैं। विषय के समय उजाला करें तो खुद को भी अच्छा न लगे। उजाला हो तो डर जाए, इसलिए अंधेरा रखते हैं। उजाला हो तो भोगने की जगह देखना अच्छा नहीं लगता। इसलिए कृपालुदेव ने भोगने के स्थान के संबंध में क्या कहा है?
प्रश्नकर्ता : 'वमन करने योग्य भी चीज़ नहीं है।'
प्रश्नकर्ता : फिर भी स्त्री के अंग की ओर आकर्षण होने का क्या कारण होगा?
दादाश्री : हमारी मान्यता, रोंग बिली़फ हैं, इस वज़ह से। गाय के अंग के प्रति क्यों आकर्षण नहीं होता है? केवल मान्यताएँ; और कुछ होता नहीं है। मात्र बिली़फ हैं। बिली़फ तोड़ डालें तो कुछ भी नहीं है।
प्रश्नकर्ता : वह मान्यता खड़ी होती है, वह संयोग के मिलने के कारण होती है?
दादाश्री : लोगों के कहने से हमें मान्यता होती है और आत्मा की उपस्थिति में मान्यता होती है इसलिए दृढ़ हो जाती है वर्ना उसमें ऐसा क्या है? केवल मांस के लौंदे हैं!
मन में विचार आए, वह विचार अपने आप ही आते रहते हैं, उसे हम प्रतिक्रमण से धो डालें। फिर वाणी में ऐसा नहीं बोलना कि विषयों का सेवन बहुत अच्छा है और वर्तन में भी ऐसा मत रखना। स्त्रियों की ओर दृष्टि मत करना। स्त्रियों को देखना नहीं, छूना नहीं। स्त्री को छू लिया हो तो भी मन में प्रतिक्रमण हो जाना चाहिए कि 'अरे, इसे कहाँ छूआ!' क्योंकि स्पर्श से विषय का असर होता है।
Q. मैं ब्रह्मचर्य का पालन कैसे कर सकता हूँ?
A. वास्तव में तो ब्रह्मचर्य समझदारी से पालन करने योग्य है। ब्रह्मचर्य का फल यदि मोक्ष नहीं मिलता हो तो वह ब्रह्मयर्च खसी करने के समान ही है। फिर भी ब्रह्मचर्य...Read More
Q. ब्रह्मचर्य के फायदे : ब्रह्मचर्य का पालन क्यों करना चाहिए?
A. प्रश्नकर्ता : पर ब्रह्मचर्य का पालन किस फायदे के लिए करना चाहिए? दादाश्री : हमें यहाँ कुछ लग जाए और खून बहता हो तो फिर उसे बंद क्यों करते हैं? उससे क्या...Read More
Q. विषय के आकर्षण से कैसे मुक्त हो सकते हैं?
A. जिसे खाने में असंतोष है उसका चित्त भोजन में जाता है और जहाँ होटल देखा वहाँ आकर्षित होता है, परंतु क्या खाना ही अकेला विषय है? यह तो पाँच इन्द्रियाँ और उनके...Read More
Q. विषय के आकर्षण का विश्लेषण।
A. चोरी करने अच्छा लगता है? झूठ बोलना, मरना पसंद आता है? फिर परिग्रह क्यों पसंद है विषय में ऐसा क्या है कि पसंद आता है? प्रश्नकर्ता : बिलकुल पसंद ही नहीं है,...Read More
Q. विवाहित जीवन में विषय संबंधी वफादारी की परिभाषा क्या है?
A. जिसने शादी की है, उसके लिए तो हमने एक ही नियम रखा है कि तुझे दूसरी किसी स्त्री की ओर दृष्टि नहीं बिगाड़नी है। यदि कभी दृष्टि ऐसी हो जाए तो प्रतिक्रमण करके...Read More
Q. पति-पत्नी के बीच क्लेश रहित जीवन की सच्चाई।
A. प्रश्नकर्ता : पर यह सब देखकर हमें कँपकँपी छूटती है। फिर ऐसा होता है कि रोज़-रोज़ ऐसे ही झगड़े होते रहते हैं, फिर भी पति-पत्नी को इसका हल निकालने को मन नहीं...Read More
Q. क्या विवाहित लोग मोक्ष प्राप्त कर सकते हैं?
A. यह विज्ञान किसी को भी, परिणीतों को भी मोक्ष में ले जाएगा। परंतु ज्ञानी की आज्ञा अनुसार चलना चाहिए। कोई दिमा़ग की खुमारीवाला हो, वह कहे, 'साहब, मैं दूसरी...Read More
Q. अवैध संबंधों के परिणाम क्या हैं?
A. यदि तू संसारी है तो तेरे ह़क का विषय भोगना, परंतु बिना ह़क का विषय तो मत ही भोगना, क्योंकि उसका फल भयंकर है। और यदि तू त्यागी हो तो तेरी विषय की ओर दृष्टि...Read More
Q. नर्क में कौन जाता है? अवैध संबंधों का परिणाम क्या है?
A. परस्त्री और परपुरुष प्रत्यक्ष नर्क का कारण है। नर्क में जाना हो तो वहाँ जाने की सोचो। हमें उसमें हर्ज नहीं है। तुम्हें ठीक लगे तो नर्क के उन दुःखों का...Read More
Q. हस्तमैथुन की लत को कैसे छोड़ें?
A. हस्तमैथुन...एक ऐसी बुरी आदत है जिसमें से किस तरह से छूटे आपको यह विचार आया होगा । शायद इसीलिए आप यहां आए होंगे। बहुत लोगों को ऐसा लगता है कि इसमें से कभी...Read More
Q. ‘थ्री विज़न’ विषय के आकर्षण को रोक सकता है।
A. मैंने जो प्रयोग किया था, वही प्रयोग इस्तेमाल करना। हमें वह प्रयोग निरंतर रहता ही है। ज्ञान होने से पहले भी हमें जागृति रहती थी। किसी स्त्री ने ऐसे सुंदर...Read More
Q. विषय की इच्छाओं पर कैसे काबू पाएँ?
A. प्रश्नकर्ता : सायकोलोजी ऐसा कहती है कि एक बार आप पेट भरकर आईस्क्रीम खा लें, फिर आपको खाने का मन ही नहीं करेगा। दादाश्री : ऐसा दुनिया में हो नहीं सकता। पेट...Read More
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