प्रश्नकर्ता : दिल को ठंडक पहुँचाने जाएँ तो आज जेब कट जाती है।
दादाश्री : जेब भले ही कट जाए। वह पिछला हिसाब होगा जो चुक रहा है। पर आप अभी ठंडक देंगे तो उसका फल तो आएगा ही, उसकी सौ प्रतिशत गारन्टी लिख कर भी दे दूँ। यह हमने दिया होगा, इसलिए हमें आज सुख आता है। मेरा धंधा ही यह है कि सुख की दुकान खोलनी। हमें दुःख की दुकान नहीं खोलनी। सुख की दुकान, फिर जिसे चाहिए वह सुख ले जाए और कोई दुःख देने आए तो हम कहें, 'ओहोहो, अभी बाकी है मेरा। लाओ, लाओ। उसे हम एक और रख छोड़ें। अर्थात् दुःख देने आएँ तो ले लें। हमारा हिसाब है, तो देने तो आएँगे न? नहीं तो मुझे तो कोई दुःख देने आता नहीं है।
इसलिए सुख की दुकान ऐसी खोलो कि बस सभी को सुख देना। दुःख किसी को देना नहीं और दुःख देनेवाले को तो किसी दिन कोई चाकू मार देता है न? वह राह देखकर बैठा होता है। यह जो बैर की वसूली करते हैं न, वे यों ही बैर वसूल नहीं करते। दुःख का बदला लेते हैं।
Book Name : सेवा परोपकार (Page #33)
A. प्रश्नकर्ता : जीवन सात्विक और सरल बनाने के क्या उपाय हैं? दादाश्री : तेरे पास जितना हो उतना... Read More
A. इसका मुख्य साइन्स क्या है कि मन-वचन-काया परोपकार में लगा दें, तो आपके यहाँ हर एक चीज़ होगी। परोपकार... Read More
Q. दूसरों की मदद क्यों करनी चाहिए?
A. यह लाइफ यदि परोपकार के लिए जाएगी तो आपको कोई भी कमी नहीं रहेगी। किसी तरह की आपको अड़चन नहीं आएगी।... Read More
A. प्रश्नकर्ता : लोकसेवा करते-करते उसमें भगवान के दर्शन करके सेवा की हो तो वह यथार्थ फल देगी... Read More
Q. दूसरों की मदद करने का प्रबल भाव रखें।
A. ये कोई पेड़ अपने फल खुद खाता है? नहीं! इसलिए ये पेड़ मनुष्य को उपदेश देते हैं कि आप अपने फल दूसरों... Read More
Q. माता-पिता की सेवा या भगवान की सेवा?
A. माँ-बाप की सेवा करना वह धर्म है। वह तो चाहे कैसे भी हिसाब हो, पर यह सेवा करना हमारा धर्म है और... Read More
Q. माता-पिता की सेवा क्यों करनी चाहिए?
A. प्रश्नकर्ता : अभी जो माँ-बाप की सेवा नहीं करते हैं, उसका क्या? तो कौन-सी गति होती है? दादाश्री :... Read More
Q. क्या मानवता मुक्ति की ओर ले जाती है?
A. प्रश्नकर्ता : मोक्षमार्ग, समाजसेवा के मार्ग से बढ़कर कैसे है? यह ज़रा समझाइए। दादाश्री : समाज सेवक... Read More
Q. खुद की सेवा का क्या मतलब है?
A. प्रश्नकर्ता : पर खुद की सेवा करने का सूझना चाहिए न? दादाश्री : वह सूझना आसान नहीं है। प्रश्नकर्ता... Read More
subscribe your email for our latest news and events