दादा भगवान फाउंडेशन, अडालज और उससे जुड़े हुए सेवा-संस्थान (चेरिटेबल ट्रस्ट) मुनाफा न करनेवाली सामाजिक व आध्यात्मिक संस्थाएँ हैं, ज्ञानीपुरुष श्री अंबालाल मूलजीभाई पटेल (जो परम पूज्य दादाश्री या दादा भगवान के नाम से भी जाने जाते हैं) के द्वारा खुले किए गए अक्रम विज्ञान के मार्ग से दुनिया में शांति, एकता और शाश्वत आनंद फ़ैलाने का कार्य करते हैं।

पूरे देश में और विदेशों में पूज्य दीपकभाई के सत्संग और ज्ञानविधि (आत्म प्राप्ति का २ घंटे का भेद ज्ञान का प्रयोग) का आयोजन डी.बी.एफ. (DBF) के द्वारा किया जाता है। सत्संग प्रश्नोत्तरी के रूप में होता है और पूछे जानेवाले प्रश्न आत्मज्ञान के सूक्ष्मतम विवरण से लेकर सामाजिक समस्याओं के हल तक के होते हैं। ये सत्संग और ज्ञान-विधि सभी जाति, रंग, धर्म व संप्रदाय के लोंगो के लिए है, जिसमें शामिल होने के लिए कोई शुल्क देना नहीं होता।

दुनिया में धर्मों के भेदभाव मिटाने और आध्यात्मिक ज्ञान (अक्रम विज्ञान के मार्ग से) बढाने के लिए, डी.बी.एफ द्वारा देश के विभिन्न भागों में निष्पक्षपाति "त्रिमंदिर" की स्थापना की जाती है और उसका संचालन किया जाता है। किताबें, पत्रिकाएँ, डी.वी.डी (DVDs), वेब साईट और टी.वी चेनलों के माध्यम से अध्यात्म विज्ञान को बढ़ावा दिया जाता है ( ज्ञान का प्रचार बढ़ाया जाता है)।

वयस्कों के लिए सत्संग और ज्ञानविधि के आयोजन के अलावा डी.बी.एफ द्वारा बच्चों और युवानों के संस्कार सिंचन के लिए दुनिया के विभिन्न देशों में अनेक प्रकार के कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है, जिसमें पत्रिकाओं का प्रकाशन करना, वेब साईट बनाना, इत्यादि का समावेश होता है।

डी.बी.एफ. द्वारा महात्माओं की आध्यात्मिक प्रगति के लिए "सीमंधर सिटी" नामक रेसिडेन्शियल टाउनशीप बनायी गयी है। "निरांत" (बुजुर्गों के लिए घर), "अंबा हेल्थ सेंटर" (दवाखाना - होस्पिटल), "उणोदरी" (भोजन शाला), "गुरुकुल" (स्कूल जाते हुए लड़कों के लिए छात्रालय), "स्टॉप एन्ड स्टे" और "डोरमेटरी" (यात्रियों के लिए ठहरने की सुविधा), "अंबा स्कूल ऑफ एक्सिलेंस जैसी सुविधाएँ भी डी.बी.एफ. द्वारा चलाई जाती है।

Dadabhagwan Foundation Brochure Download Brochure

×
Share on